पीरियड्स के दौरान होने वाले हार्मोनल बदलाव का असर महिलाओं की एनर्जी, इमोशन, प्रजनन क्षमता और हड्डियों के स्वास्थ्य पर पड़ता है. इस तरह अगर महिलाएं डाइट में कुछ जरूरी चीजों को शामिल कर लें तो हार्मोनल बदलाव को बैलेंस किया जा सकता है और परेशानियों को दूर रखा जा सकता है. Image: Canva

बीबीसी गुड फूड के मुताबिक, शरीर में एस्ट्रोजेन की तरह ही फाइटोएस्ट्रोजेन भी हार्मोनल उतार-चढ़ाव को नियंत्रित करने में मदद करता है. अगर आप डाइट में सोया, अलसी और दाल जैसे प्लांट बेस्ड चीजों को शामिल करें तो पीरियड के दौरान हार्मोनल उतार चढ़ाव को आसानी से कंट्रोल किया जा सकता है. Image: Canva

ऐसे में अगर जिंक (Zink) को डाइट में महिलाएं शामिल करें तो यह हार्मोन को कंट्रोल करने का काम करता है और पीरियड पेन, पीसीओएस, पीएमएस, मुहांसे, थायरॉयड बढ़ना और पेरिमेनोपॉज़ जैसी हार्मोन-संबंधित परेशानियों को दूर रखने का काम करता है. यह सीफूड, चिकन, नट्स और सीड आदि में भरपूर मात्रा में पाया जाता है. Image: Canva

सेलेनियम रिच फूड भी थायराइड हार्मोन बढ़ाने के काम आता है जो ओव्यूलेशन के लिए काफी जरूरी होता है. यह थायरॉयड ऑटोएंटीबॉडी को कम करने में मदद कर सकता है. प्रजनन क्षमता बढ़ाता है, गर्भपात की परेशानी को दूर रखता है. ब्राजील नट्स और लीवर में सेलेनियम भरपूर पाया जाता है. Image: Canva

विटामिन ई भी एक पावरफुल एंटीऑक्सीडेंट है, जो महिलाओं में हार्मोन के स्तर को नॉर्मल रखने के काम आता है. यह मेनोपॉज के दौरान होने वाली परेशानियों को दूर रखने में भी मदद करता है. इसके लिए आप तरह तरह के मेवे, बीज, एवोकैडो, मछली और पत्तेदार साग का सेवन करें. Image: Canva

विटामिन सी और विटामिन बी रिच फूड प्रोजेस्टेरोन उत्पादन को बढ़ाता है, जो प्रजनन क्षमता, गर्भावस्था और पीरियड में एस्ट्रोजन को बैलेंस रखता है. यह हेल्दी ओव्यूलेशन में भी मदद करता है. स्ट्रेस मैनेज करने में भी यह उपयोगी है. इसके लिए आप सब्जियां, खट्टे फल, डेयरी, अंडे, मछली, ऑर्गन मीट, गाजर, शकरकंद और फलियां आदि खाएं. Image: Canva

इनके अलावा विटामिन बी यानी फोलेट सहित, ओमेगा 3, मैग्नीशियम, आयरन, फाइबर, प्रोटीन का सेवन भी काफी फायदेमंद होता है. इनसे भरपूर चीजें हार्मोनल बदलाव को संतुलित रखने और महिलाओं के ओवर ऑल हेल्थ को बेहतर करने में मदद करते हैं. Image: Canva