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- कर्मचारियों की पुरानी पेंशन योजना की बहाली की मांग करने के लिए, सुशांत ने सरकार को निशाना बनाया, समानता लाने के लिए धारा 370 को हटाया, तो कर्मचारियों पर दोहरा कानून क्यों लागू किया गया?
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बिलासपुर22 दिन पहले
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- पेंशन के मामले में अफसरशाही सरकार को गुमराह कर रही है – डाॅ. सुशांत
पूर्व सांसद डाॅ. राजन सुशांत ने न्यू पेंशन स्कीम को लेकर सरकार पर तीखा हमला किया है। उन्होंने कहा कि केंद्र व भाजपा शासित राज्यों की सरकारें जेएंडके से धारा 370 हटाने को ऐतिहासिक फैसला बता रही हैं। हालांकि देश में एक कानून लागू करने के लिहाज से यह फैसला स्वागतयोग्य है। इसके लिए वह सरकार के आभारी हैं, लेकिन ओल्ड और न्यू पेंशन स्कीम के रूप में कर्मचारियों पर दोहरा कानून क्यों थोपा गया है।
वीरवार को सर्किट हाउस में पत्रकारों से बातचीत में राजन सुशांत ने कहा कि प्रदेश में बेरोजगारों की फौज लगातार बढ़ती जा रही है। रोजगार कार्यालयों के आंकड़ों के अनुसार प्रदेश में 10 लाख प्रशिक्षित बेरोजगार हैं।
हाल ही में कोरोना संकट की वजह से बाहरी राज्यों में नौकरी गंवाने वाले युवाओं को मिलाकर यह आंकड़ा लगभग 13 लाख हो चुका है। उन्हें स्थाई रोजगार देने के बजाए हर सरकार आउटसोर्सिंग जैसी अस्थाई व्यवस्था करके उनका भविष्य खराब कर रही है। युवाओं को पार्ट टाईम, डेलीवेज व कांट्रेक्ट जैसे चक्रव्यूहों में उलझा दिया जाता है। जब तक नियमित होने की बारी आती है, वे रिटायर होने के कगार पर पहंुच चुके होते हैं। रही-सही कसर न्यू पेंशन स्कीम ने पूरी कर दी है।
यदि 2003 से पहले के किसी कर्मचारी को 25 हजार रुपये पेंशन मिलती है, तो नई पेंशन स्कीम में यह राशि महज 500 से 2500 रुपये तक सिमट जाती है। बढ़ती महंगाई के इस दौर में 17 रुपये से लेकर 83 रुपये दिहाड़ी में वे कैसे जी पाएंगे। डाॅ. सुशांत ने कहा कि पेंशन के मामले में अफसरशाही सरकार को गुमराह कर रही है।
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