[ad_1]
- हिंदी समाचार
- स्थानीय
- पंजाब
- चंडीगढ़ उच्च न्यायालय ने पंजाब के डीजीपी दिनकर गुप्ता और सरकार को राहत दी, अदालत ने सभी याचिकाओं को खारिज कर दिया
चंडीगढ़14 मिनट पहले
- कॉपी लिंक

पंजाब के पुलिस महानिदेशक दिनकर गुप्ता। गुप्ता को आज हाईकोर्ट ने बड़ी राहत प्रदान की है।
- 7 फरवरी 2019 को दी गई नियुक्ति कैट ने जनवरी 2020 में दिनकर गुप्ता की डीजीपी पद पर नियुक्ति को अवैध करार दिया था
- हाईकोर्ट ने 112 पेज के अपने फैसले में दिनकर गुप्ता की पंजाब के डीजीपी पर पर नियुक्त को वैध करार दिया
पंजाब सरकार और डीजीपी दिनकर गुप्ता को बड़ी राहत मिली है। दिनकर गुप्ता पंजाब के डीजीपी बने रहेंगे। दिनकर के डीजीपी बनने के खिलाफ सभी याचिका हाईकोर्ट ने खारिज कर दी है। पंजाब सरकार की मांग स्वीकार केंद्रीय प्रशासनिक अधिकरण ने दिनकर गुप्ता की डीजीपी पद पर नियुक्ति को रद कर दिया था। हाईकोर्ट ने 112 पेज के अपने फैसले में दिनकर गुप्ता की पंजाब के डीजीपी पर पर नियुक्त को वैध करार दिया है।
कैट के आदेश के खिलाफ पंजाब सरकार ने हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी। दिनकर गुप्ता को पंजाब के डीजीपी बनाए जाने के खिलाफ पंजाब के आइपीएस अधिकारी मोहम्मद मुस्तफा व पंजाब के अन्य आईपीएस अफसर की याचिका पर कैट ने दिनकर गुप्ता की नियुक्ति को रद कर दिया था।
दरअसल, दिनकर गुप्ता को 7 फरवरी 2019 को डीजीपी नियुक्त किया गया था। इसके बाद कैट ने जनवरी 2020 में दिनकर गुप्ता की डीजीपी पद पर नियुक्ति को अवैध करार दिया था। आरोप है कि पंजाब सरकार ने दिनकर गुप्ता को अन्य अधिकारियों की वरीयता को दरकिनार करके राज्य का डीजीपी नियुक्त किया था। इस पद के लिए मोहम्मद मुस्तफा भी बड़े दावेदार थे। अपनी दावेदारी खारिज होने के बाद मोहम्मद मुस्तफा ने कैट का रुख किया। कैट ने इस पर सुनवाई के बाद दिनकर गुप्ता और पंजाब सरकार को बड़ा झटका दे दिया और दिनकर गुप्ता की डीजीपी पद पर नियुक्ति को खाारिज कर दिया।
इसके बाद पंजाब सरकार ने कैट के निर्णय के खिलाफ पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट में याचिका दायर की। इसके साथ दिनकर गुप्ता की नियुक्ति के खिलाफ भी हाईकोर्ट में कई याचिकाएं दी गईं। डीजीपी सिद्धार्थ चट्टोपाध्याय, मोहम्मद मुस्तफा ने याचिकाएं दायर की थी। इसके बाद डीजीपी दिनकर गुप्ता ने भी अपना पक्ष सुनने जाने के लिए याचिका दायर की। इन याचिकाओं पर कई सुनवाई के बाद शुक्रवार को पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट ने खारिज कर दिया। हाईकोर्ट ने इस मामले में 9 सितंबर को अपना फैसला सुरक्षित रख लिया था।
[ad_2]
Source link