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चंडीगढ़32 मिनट पहले
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हरियाणा विधानसभा में हंगामा करते कांग्रेस विधायक
- कृषि कानूनों और सोनीपत में जहरीली शराब कांड पर विपक्षियों ने सरकार को घेरा
- हंगामा करते हुए वेल में आ गए और विरोधी नारेबाजी की, फिर वाकआउट कर दिया
हरियाणा विधानसभा मानसून सत्र के दूसरे दिन की शुरुआत सदन में कांग्रेसियों के हंगामे के साथ हुई। विपक्षियों ने कृषि कानूनों और सोनीपत में जहरीली शराब कांड को लेकर सरकार पर सवाल उठाए। बवाल काटने के बाद विरोधी नारेबाजी करते हुए कांग्रेस विधायक वेल में आ गए और फिर उन्होंने वॉक आउट कर दिया। इससे पहले हुड्डा के नेतृत्व में कांग्रेस विधायकों कृषि कानूनों और एमएसपी के मुद्दे पर विधानसभा के बाहर भी विरोध प्रदर्शन किया था।
सदन की कार्यवाही शुरू होते ही केंद्र सरकार के तीन कृषि कानूनों के विरोध में कांग्रेस ने प्रस्ताव पेश किया, जिसे रद्द कर दिया गया। विधानसभा स्पीकर ज्ञानचंद गुप्ता ने कहा कि कोई भी प्रस्ताव विधानसभा सत्र के 15 दिन पहले प्रस्तावित किया जाना चाहिए, लेकिन यह प्रस्ताव 2 नवंबर को दिया गया है। इसलिए अब इस प्रस्ताव को स्वीकार नहीं किया जा सकता। इस आधार पर स्पीकर ने प्रस्ताव को खारिज कर दिया।
इसके बाद कांग्रेस विधायकों ने हंगामा करना शुरू किया और भूपेंद्र सिंह हुड्डा के नेतृत्व में नारेबाजी करने लगे। करीब 15 मिनट तक इस वजह से सदन की कार्यवाही बाधित रही। करीब 10 मिनट तक वेल में खड़े रहने के बाद कांग्रेसी विधायकों ने वाकआउट कर दिया, लेकिन ने कुछ देर में लौट आए। इसके बाद कार्यवाही शुरू हुई तो सोनीपत में जहरीली शराब से हुई मौतों पर कांग्रेस ने ध्यानाकर्षण प्रस्ताव दिया, लेकिन स्पीकर ने इसे भी खारिज कर दिया।
इसके विरोध कांग्रेस विधायकों ने दोबारा हंगामा किया और विरोधी नारेबाजी करते हुए वेल में पहुंच गए। वहीं कांग्रेस विधायकों ने एमएसपी (न्यूनतम समर्थन मूल्य) की गारंटी के लिए चौथा कानून बनाने की मांग की है, जिसमें किसानों को फसल की एमएसपी नहीं देने वालों के खिलाफ सजा का प्रावधान हो। कृषि कानून किसानों को बर्बाद कर देंगे। ये आम नागरिक की सार्वजनिक वितरण प्रणाली को भी प्रभावित करेंगे।
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