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चंडीगढ़17 घंटे पहले
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एक महिला की सर्जरी होनी थी। हॉस्पिटल ने कुछ जरूरी टेस्ट लिख दिए जोकि उन्होंने सेक्टर-11 की प्राइवेट लैब फ्यूचर डायग्नोस्टिक से करवाए। लेकिन लैब ने रिपोर्ट में ब्लड ग्रुप ही बदल दिया। जिससे उनकी सर्जरी में देरी हो गई। इस लापरवाही के लिए लैब को भारी जुर्माना भरना पड़ेगा। चंडीगढ़ डिस्ट्रिक्ट कंज्यूमर कमीशन ने फ्यूचर डायग्नोस्टिक लैब पर 3 लाख रुपए जुर्माना लगाया है।
कमीशन ने सेक्टर-15 की पूर्वी की शिकायत पर लैब के खिलाफ ये फैसला सुनाया। लैब को एक लाख रुपए बतौर मुआवजा अदा करने पड़ेंगे जबकि दो लाख रुपए कंज्यूमर लीगल एड फंड में जमा करवाने होंगे। वकील आदित्य वर्मा ने बताया कि पूर्वी के पेट में इन्फेक्शन था सेक्टर-22 जनरल हॉस्पिटल के डॉक्टर्स ने टेस्ट लिखे।
सेक्टर-11 की फ्यूचर डायग्नोस्टिक लैब से टेस्ट करवाए। इन टेस्ट के लिए 2500 रुपए फीस ली। टेस्ट की रिपोर्ट आई तो पूर्वी का ब्लड ग्रुप ओ पॉजिटिव लिख दिया जबकि उनका ब्लड ग्रुप ए पॉजिटिव था। पूर्वी का किसी और लैब से टेस्ट करवा लिया जहां सही रिपोर्ट आई। सर्जरी के बाद लैब से बात की तो उनकी एक न सुनी। जिसके बाद पूर्वी ने लैब के खिलाफ डिस्ट्रिक्ट कंज्यूमर कमीशन में शिकायत दी थी।
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