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नई दिल्ली: आज आसमान में एक दुर्लभ ‘ब्लू मून’ का नजारा दिखाई देगा. ब्लू मून का दीदार रात 8.19 बजे के करीब हो सकेगा. ‘ब्लू मून’ की खगोलीय घटना बेहद दुर्लभ होती है. भले ही इस घटना को ‘ब्लू मून’ नाम दिया गया हो लेकिन ऐसा नहीं है कि चांद दुनिया में हर जगह नीले रंग का दिखने लगता है. असल में जब वातावरण में प्राकृतिक वजहों से कणों का बिखराव हो जाता है तब कुछ जगहों पर दुर्लभ नजारे के तौर पर चंद्रमा नीला प्रतीत होता है.’
एक महीने के भीतर दूसरी बार दुर्लभ पूर्ण चंद्र दिखेगा. आम तौर पर हर महीने में एक बार पूर्णिमा और एक बार अमावस्या होती है. हालांकि, ऐसा दुर्लभ ही होता है कि एक ही महीने में दो बार पूर्णिमा (पूर्ण चंद्र) होती है और ऐसे में दूसरे पूर्ण चंद्र को ‘ब्लू मून’ कहा जाता है. मुंबई के नेहरू तारामंडल के निदेशक अरविंद प्रांजपेय ने कहा कि एक अक्टूबर को पूर्णिमा थी और अब दूसरी पूर्णिमा 31 अक्टूबर को होगी.
निदेशक ने कहा, ‘चंद्र मास की अवधि 29.531 दिनों अथवा 29 दिन, 12 घंटे, 44 मिनट और 38 सेकेंड की होती है, इसलिए एक ही महीने में दो बार पूर्णिमा होने के लिए पहली पूर्णिमा उस महीने की पहली या दूसरी तारीख को होनी चाहिए.’
इसके बाद अगला ‘ब्लू मून’ कब होगा
दिल्ली के नेहरू तारामंडल की निदेशक एन रत्नाश्री का कहना है कि ’30 दिन के महीने के दौरान ब्लू मून होना कोई आम बात नहीं है. 30 दिन वाले महीने में पिछली बार 30 जून, 2007 को ‘ब्लू मून’ रहा था और अगली बार यह 30 सितंबर 2050 को होगा. साल 2018 में दो बार ऐसा अवसर आया जब ‘ब्लू मून’ की घटना हुई. उस दौरान पहला ‘ब्लू मून’ 31 जनवरी जबकि दूसरा 31 मार्च को हुआ. अब इसके बाद अगला ‘ब्लू मून’ 31 अगस्त 2023 को होगा.
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