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khaskhabar.com : मंगलवार, 20 अक्टूबर 2020 8:32 PM
नई दिल्ली । पंजाब
कांग्रेस में सबकुछ सही नहीं है, क्योंकि क्रिकेटर से राजनेता बने नवजोत
सिह सिद्धू ने किसानों के मुद्दे पर पंजाब के मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह पर
निशाना साधा है।
मुख्यमंत्री ने हालांकि तीन नए किसान बिलों पर सीधे तौर पर केंद्र सरकार को
घेरने की कोशिश की है, जबकि सिद्धू ने अपनी ही सरकार के फसल खरीद मॉडल,
भंडारण और बाजार क्षमता की कमी को लेकर राज्य सरकार पर निशाना साधा।
सिद्धू
की आलोचना पर, कांग्रेस नेताओं ने कहा कि कृषि बिल से संबंधित मामला गंभीर
है और सिद्धू ने इन बिलों पर केंद्र सरकार की भी आलोचना की है। कांग्रेस
ऐसा नहीं मानती है कि सिद्धू भाजपा में घर वापसी करेंगे।
प्रदेश कांग्रेस प्रभारी हरीश रावत ने कहा था, “सिद्धू पार्टी के लिए एक धरोहर हैं।”
पूर्व
अध्यक्ष राहुल गांधी की ट्रैक्टर रैली के दिन, सिद्धू ने मुख्यमंत्री
अमरिंदर सिंह और राहुल के साथ मंच साझा किया था और वहां भी उन्होंने राज्य
सरकार की आलोचना की थी।
इससे पहले चर्चा थी कि सिद्धू को प्रदेश
अध्यक्ष बनाया जा सकता है, जिसका पंजाब के कांग्रेस नेता सुनील जाखड़ ने
पुरजोर विरोध किया था और बाद में मुख्यमंत्री ने भी आपत्ति जताई थी। जिसके
बाद प्रदेश प्रभारी हरीश रावत ने स्पष्ट किया था कि ऐसा कोई प्रस्ताव नहीं
था और उन्हें गलत समझा गया।
रावत ने देहरादून से आईएएनएस से बातचीत करते हुए कहा, “पंजाब में प्रदेश अध्यक्ष बदलने का कोई प्रस्ताव नहीं है।”
लोगो
से जुड़ने के लिए सिद्धू ने सोमवार को अपने यूट्यूब चैनल पर कहा, “आज
पंजाब के पास चावल और गेहूं को छोड़कर कोई सरकारी खरीद मॉडल नहीं है। न ही
भंडारण व बाजार क्षमता उपलब्ध है।”
वहीं केंद्र पर निशाना साधते
हुए, पूर्व मंत्री ने कहा, “आज, वे कृषि को पूंजीपतियों को सौंप रहे हैं,
जबकि विनिर्माण और सेवा क्षेत्र घाटे में है। वे चाहते हैं कि क्रोनी
कैपिटलिस्ट शासन करें। वे हमपर ईस्ट इंडिया कंपनी की तरह राज करना चाहते
हैं।”
–आईएएनएस
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