भारत में डिजिटल क्रांति की लहर अब गांव-गांव तक पहुँच चुकी है, और इस अद्वितीय परिवर्तन में रिलायंस जियो ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। डिजिटल टेक्नोलॉजी और इनोवेशन के क्षेत्र में भारत का तेजी से विकास न केवल देश के आर्थिक और सामाजिक ढांचे को बदल रहा है, बल्कि भारत को विश्व में एक प्रमुख टेक्नोलॉजी हब के रूप में स्थापित कर रहा है। इसी संदर्भ में हाल ही में आयोजित इंडिया मोबाइल कांग्रेस 2024 के 8वें संस्करण में रिलायंस जियो के चेयरमैन आकाश अंबानी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व और इनोवेशन पर फोकस करते हुए, देश के डिजिटल भविष्य की दिशा को रेखांकित किया।
इंडिया मोबाइल कांग्रेस: वैश्विक मंच पर भारत
इंडिया मोबाइल कांग्रेस 2024 का शुभारंभ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा दिल्ली के प्रगति मैदान में किया गया, जिसमें भारत और दुनिया के विभिन्न देशों के टेलिकॉम और टेक्नोलॉजी के दिग्गज शामिल हुए। इस मंच ने एक बार फिर भारत की तकनीकी क्षमताओं और डिजिटल क्रांति को वैश्विक स्तर पर प्रदर्शित किया। आकाश अंबानी ने अपने संबोधन में कहा, “इंडिया मोबाइल कांग्रेस आज ग्लोबल स्टैंडर्ड पर है।” उन्होंने भारत में तकनीकी नवाचार और डिजिटलाइजेशन में सरकार की महत्वपूर्ण भूमिका की सराहना की और बताया कि कैसे जियो और अन्य भारतीय कंपनियों ने देश को विश्वस्तर पर खड़ा कर दिया है।
आकाश अंबानी ने विशेष रूप से यह कहा कि कैसे पीएम मोदी की दूरदर्शी लीडरशिप ने इनोवेशन को प्रोत्साहन दिया, जिससे भारत डिजिटल क्षेत्र में दुनिया के अग्रणी देशों में शामिल हो गया। उनका यह बयान इस बात को दर्शाता है कि भारत अब न केवल डिजिटल तकनीक का उपयोग करने वाला देश है, बल्कि दुनिया भर में एआई और अन्य अत्याधुनिक तकनीकों के समाधान भी प्रदान कर रहा है।
जियो का महत्वपूर्ण योगदान
आकाश अंबानी ने जियो के योगदान को रेखांकित करते हुए कहा कि जियो ने भारत में डिजिटल क्रांति को गांव-गांव तक पहुंचाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। जब जियो की शुरुआत हुई थी, तब भारत में इंटरनेट की पहुंच सीमित थी, और स्पीड बेहद धीमी थी। उस समय, देश 2G और 3G नेटवर्क के जरिए इंटरनेट का उपयोग कर रहा था, जो धीमी स्पीड और कम गुणवत्ता की सेवा प्रदान करते थे।
लेकिन जियो के आगमन ने इस स्थिति को बदल दिया। सस्ती डेटा सेवाओं और बेहतर नेटवर्क कनेक्टिविटी के जरिए जियो ने देशभर में इंटरनेट को लोगों की पहुंच में ला दिया। आज, भारत 5G की दुनिया में कदम रख चुका है, और आने वाले समय में 6G के माध्यम से और भी बेहतर तकनीकी सेवाएं मिलने की उम्मीद है।
आकाश अंबानी के अनुसार, जियो का उद्देश्य केवल कनेक्टिविटी प्रदान करना नहीं था, बल्कि तकनीक और इनोवेशन के जरिए एक ऐसा डिजिटल इकोसिस्टम बनाना था, जो समाज के सभी वर्गों के लिए सुलभ हो। यही कारण है कि आज जियो न केवल शहरी क्षेत्रों में बल्कि ग्रामीण इलाकों में भी अपनी सेवाएं उपलब्ध करा रही है, जिससे लाखों लोग डिजिटल दुनिया से जुड़ रहे हैं।
एआई का लोकतांत्रिकरण और नया औद्योगिक युग
इंडिया मोबाइल कांग्रेस के मंच से आकाश अंबानी ने एआई (आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस) के महत्व पर जोर दिया और कहा कि भारत एआई के क्षेत्र में दुनिया का नेता बनने की क्षमता रखता है। उन्होंने यह भी कहा कि जियो का उद्देश्य एआई को लोकतांत्रिक बनाना है, यानी एआई की शक्तिशाली सेवाओं और मॉडल्स को सभी के लिए सुलभ और किफायती बनाना।
एआई के माध्यम से भारत में छोटे और मझोले उद्योगों (SMEs) को भी पूरी तरह से बदलने की क्षमता है। एआई से न केवल उत्पादकता में वृद्धि होगी, बल्कि यह भी संभव होगा कि भारत दुनिया के लिए एक नए युग का कारखाना बने। यह देश के आर्थिक विकास के लिए एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित होगा।
डिजिटल क्रांति और रोजगार
जैसा कि अंबानी ने बताया, एआई के आने से रोजगार के अवसरों में भी वृद्धि होगी, जैसा कि कंप्यूटर और इंटरनेट के दौर में हुआ था। जब इंटरनेट और कंप्यूटर तकनीक ने भारत में प्रवेश किया, तो उसने न केवल औद्योगिक विकास को तेज किया, बल्कि लाखों लोगों के लिए रोजगार के नए अवसर पैदा किए। उसी प्रकार, एआई और डिजिटल क्रांति के साथ भारत एक बार फिर नए और उन्नत रोजगार सृजन के दौर में प्रवेश कर रहा है।
डिजिटल इंडिया के इस नए युग में, एआई का महत्व हर क्षेत्र में देखा जा सकता है – चाहे वह स्वास्थ्य सेवा हो, शिक्षा हो, या फिर मैन्युफैक्चरिंग। भारत के छोटे और मध्यम उद्योग भी अब इस तकनीक का फायदा उठाकर अपनी उत्पादकता और गुणवत्ता में सुधार कर सकते हैं।
सरकार और उद्योग का तालमेल
आकाश अंबानी ने यह भी बताया कि कैसे भारत सरकार और उद्योग के बीच तालमेल ने देश में तकनीकी विकास को बढ़ावा दिया है। उन्होंने कहा कि सरकार और उद्योग साथ मिलकर 145 करोड़ भारतीयों की जरूरतों और अपेक्षाओं को पूरा करने का प्रयास कर रहे हैं।
प्रधानमंत्री मोदी की डिजिटल इंडिया पहल ने इस संबंध में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। इस पहल के तहत न केवल डिजिटल सेवाओं का विस्तार हुआ है, बल्कि तकनीकी इनोवेशन और स्टार्टअप्स को भी बढ़ावा मिला है। आज भारत दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा यूनिकॉर्न हब है, और इसका श्रेय सरकार की इन नीतियों को जाता है, जिन्होंने उद्योगों और स्टार्टअप्स को पनपने का मौका दिया।
विकसित भारत 2047 का लक्ष्य
आकाश अंबानी ने यह भी बताया कि जियो का मुख्य लक्ष्य ‘विकसित भारत 2047’ मिशन पर केंद्रित है। इस मिशन के तहत जियो और अन्य भारतीय कंपनियाँ भारत को न केवल तकनीकी रूप से मजबूत बनाएंगी, बल्कि एक ऐसा भविष्य तैयार करेंगी जहां हर भारतीय को बेहतर कनेक्टिविटी, बेहतर सेवाएं और रोजगार के अवसर मिल सकें।
भारत में डिजिटल क्रांति का सफर अब केवल शहरों तक सीमित नहीं है, बल्कि गांव-गांव तक फैल चुका है। रिलायंस जियो ने इस क्रांति में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है और आगे भी इसे और मजबूत बनाने का वादा किया है। एआई, 5G, और अन्य उन्नत तकनीकों के माध्यम से भारत न केवल तकनीकी क्षेत्र में बल्कि आर्थिक और सामाजिक क्षेत्र में भी दुनिया के अग्रणी देशों में शामिल होने की दिशा में तेजी से आगे बढ़ रहा है। इंडिया मोबाइल कांग्रेस 2024 ने इस भविष्य की झलक दिखा दी है, और आने वाले वर्षों में यह सफर और भी रोमांचक होगा।